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Hindi News पश्चिम बंगालटीएमसी नेता मुकुल रॉय की हालत गंभीर; बाथरूम में गिरने से सिर पर लगी है चोट, डॉक्टर क्या बोले

टीएमसी नेता मुकुल रॉय की हालत गंभीर; बाथरूम में गिरने से सिर पर लगी है चोट, डॉक्टर क्या बोले

मुकुल रॉय तृणमूल कांग्रेस के संस्थापक सदस्यों में से एक हैं। वह 2017 में भारतीय जनता पार्टी में शामिल हो गए थे और 2021 के विधानसभा चुनाव में भाजपा के टिकट पर कृष्णानगर उत्तर निर्वाचन क्षेत्र से जीते।

टीएमसी नेता मुकुल रॉय की हालत गंभीर; बाथरूम में गिरने से सिर पर लगी है चोट, डॉक्टर क्या बोले
Niteesh Kumarएजेंसी,कोलकाताSat, 06 Jul 2024 08:37 PM
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पूर्व रेल मंत्री मुकुल रॉय की हालत गंभीर है। कुछ दिन पहले आवास में गिरने के बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था। हॉस्पिटल के एक अधिकारी ने शनिवार को यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि रॉय घर में गिरने से घायल हो गए थे। वह अब भी अस्पताल के आईसीयू में हैं। उन्होंने पीटीआई को बताया, ‘रॉय की हालत गंभीर, लेकिन स्थिर है। हमारे डॉक्टर चौबीसों घंटे उनकी निगरानी कर रहे हैं।’ मुकुल रॉय तृणमूल कांग्रेस के संस्थापक सदस्यों में से एक हैं। वह 2017 में भारतीय जनता पार्टी में शामिल हो गए थे और 2021 के विधानसभा चुनाव में भाजपा के टिकट पर कृष्णानगर उत्तर निर्वाचन क्षेत्र से जीते थे। हालांकि, बाद में वह तृणमूल कांग्रेस में लौट आए।

अस्पताल के अधिकारी ने बताया कि मुकुल रॉय बुधवार शाम को बाथरूम में गिर गए थे जिससे उनके सिर में चोट लग गई थी। अस्पताल प्रशासन ने उन पर चौबीस घंटे निगरानी रखने के लिए डॉक्टरों की टीम गठित की है। अधिकारी ने बताया कि रॉय तंत्रिकातंत्र संबंधी बीमारियों से पीड़ित हैं और चोट लगने पर बेहोश होने से पहले उन्हें उल्टी भी हुई थी। रॉय के बेटे सुभ्रांशु रॉय ने अपने पिता के बीमार होने की पुष्टि की। उन्होंने कहा, ‘बाबा घर में बाथरूम जाते समय गिर गए। उनके सिर में चोट लगी है। उन्हें उल्टी हुई और वे बेहोश हो गए। हम उन्हें अस्पताल ले गए।’

अगर पश्चिम बंगाल की राजनीतिक हलचल की बात करें तो विधानसभा के अध्यक्ष बिमान बनर्जी ने राज्यपाल के निर्देश की अवहेलना की है। उन्होंने शुक्रवार को तृणमूल कांग्रेस के 2 नवनिर्वाचित विधायकों को शपथ दिलाई, जिसके बाद राजभवन ने इसे संवैधानिक रूप से अनुचित बताया। राज्यपाल ने दोनों विधायकों को सदस्यता की शपथ दिलाने की जिम्मेदारी विधानसभा उपाध्यक्ष आशीष बनर्जी को सौंपी थी। इस घटना के बाद राज्यपाल सी वी आनंद बोस ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को एक रिपोर्ट भेजी, जिसमें आरोप लगाया गया कि अध्यक्ष के कार्यों से संवैधानिक मानदंडों का उल्लंघन हुआ है। राजभवन के एक अधिकारी के अनुसार, बोस ने राष्ट्रपति को पत्र लिखकर कहा कि राज्य विधानसभा में अध्यक्ष द्वारा विधायकों को शपथ दिलाना असंवैधानिक है। विधायकों के शपथ ग्रहण के बाद विधानसभा का एक दिवसीय विशेष सत्र अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया।