मध्य प्रदेश की छिंदवाड़ा लोकसभा सीट पर शुरू से ही कांग्रेस का दबदबा रहा है। वर्तमान में यहां से कमलनाथ के बेटे नकुलनाथ सांसद हैं। पहले आम चुनाव 1952 में इस सीट पर कांग्रेस के रचींद्रभाई शाह निर्वाचित हुए। साल 1980 के लोकसभा चुनाव में ये सीट हाई प्रोफाइल हो गई। कांग्रेस के कद्दावर नेता और तत्कालीन गांधी परिवार के करीबी कमलनाथ ने जनता पार्टी के प्रतुल चंद्र द्विवेदी को करारी शिकस्त दी। तब से लेकर अबतक इस सीट पर कांग्रेस का दबदबा रहा है। 1980 से लेकर 1996 तक कमलनाथ इस सीट से 4 बार सांसद बने। 1996 में कांग्रेस ने अपना प्रत्याशी बदला और अलका नाथ को मैदान में उतारा औ एक बार फिर जीत दर्ज की। साल 1997 के उपचुनाव में भाजपा के सुन्दर लाल पटवा ने कमलनाथ को हरा दिया लेकिन एक ही साल के अंदर हुए आम चुनाव में कमलनाथ ने फिर से बाजी पलट दी और बंपर वोटों से जीत दर्ज की। जिसके बाद 2019 तक कमलनाथ इस सीट से सांसद रहे। 2019 के चुनाव में कमलनाथ बतौर मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री होने के नाते कांग्रेस ने उनके बेटे नकुलनाथ को मौका दिया। नकुलनाथ भी इस सीट पर कांग्रेस के विजयरथ को आगे बढ़ने में कामयाब रहे। इस लोकसभा क्षेत्र में 75 फीसदी से अधिक मतदाता ग्रामीण क्षेत्र से ताल्लुक रखते हैं। वर्गवार बात की जाए तो सामान्य और अनुसूचित जाति के वोटर्स जीत-हार निर्धारित करने में अहम रोल अदा करते हैं।और पढ़ें